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20 सितंबर, 2021 को सुप्रीम मास्टर टीवी पर प्रसारित एक व्याख्यान में, मास्टर ने कहा कि गर्भपात और हत्या दुनिया को चोट पहुँचाती है और लोगों के लिए आपदाएँ लाती है। मुझे इसके वास्तविक जीवन के अनुभव हैं। मैं 61 साल की हूं। जब मैं 23 साल की थी, तब मैंने अपनी तत्कालीन सास की मांग पर दो बार गर्भपात कराया था। उन्होंने सोचा कि मेरी नई-नई शादी हुई है और मेरे पास इतनी आर्थिक स्थिति नहीं है कि मैं बच्चा पैदा कर सकूँ। एक देशी लड़की की शादी एक शहरी परिवार में होने के कारण, मैं ज्यादा कुछ नहीं और केवल अपनी सास की व्यवस्था का पालन कर सकती थी। हालाँकि मुझे शांति का अनुभव नहीं हुआ, लेकिन मैंने गर्भपात को कोई बड़ी बात नहीं समझी क्योंकि मैं भ्रूणों को नहीं जानती या देखती थी। हालाँकि, उनके बाद के कुछ वर्षों के लिए, मैं उदास और बहुत दुखी महसूस करती रही, जैसे कि कोई बड़ा पत्थर मेरे दिल को दबा रहा हो। मैं सोंचने लगि कि क्या यह मेरी सास के साथ खराब आत्मीयता के कारण हो सकता है। उन्होंने मेरे लिए जीवन कठिन बनाते हुए हर तरह की बाधाएं खड़ी कीं। मेरी शादी एक तलाक में समाप्त हुई। 30 वर्ष की आयु में मुझे मास्टर को खोजने और उनकी शिष्य बनने का सौभाग्य प्राप्त हुआ। दीक्षा के कुछ समय बाद, मैं स्वर्ग और नरक के लिए स्वतंत्र रूप से उड़ने में सक्षम थी। मैने बहुत कुछ जाना और अपने मृत रिश्तेदारों और दोस्तों से भी मिलने जाती थी। मैंने उन दो बच्चों को भी देखा जिन्हें मैंने खो दिया था - एक लड़का और एक लड़की। वे बड़े हो गए थे और मेरे आसपास रह रहे थे। जब मैं समाधि में थी, तो वह लड़की मेरे पास रोते हुए आई, और बताइ कि उन्हें तंग किया गया था और उनके नाखून फट गए थे, जिससे असहनीय दर्द हो रहा था। वह रोती रही, "माँ, दर्द होता है।" लड़का भी आया, यह कहते हुए कि वह भूख से मर रहा है और बहुत पीड़ित है। उसने मुझ पर उसे जन्म न देने का आरोप लगाया। मैं बहुत डरी हुइ और दुःखी हो गइ। मैंने अधिक ध्यान किया और मास्टर से प्रार्थना की कि वे उनकी देखभाल करें और उनकी मदद करें। एक दिन, लड़की, एक सुंदर औपचारिक पोशाक में, मुझे खुशी-खुशी यह बताने आई कि मास्टर उन्हें आध्यात्मिक अभ्यास करने के लिए एक कमल के हॉल में ले गई थी। लड़का भी विदा मागने आया था। उसने कहा कि वह चीन में पुनर्जन्म के रास्ते पर है और बड़े होने के बाद उसको दीक्षा मिलेगी और आध्यात्मिक रूप से अभ्यास करेगा। गर्भपात के कारण होने वाले बुरे सपने आखिरकार खत्म हो गए। मैं बहुत खुशनसीब हूं कि मास्टर जी से मिली। उन्होंने मेरी जान बचाई जो अन्यथा एक रास्ता विहिन धूंध में फंस जाती, कोई रास्ता खोजने के लिए आगे या पीछे नहीं जा पाती। जो आध्यात्मिक रूप से अभ्यास नहीं करता वह मेरे जैसा धन्य नहीं होंगे । वास्तव में, गर्भपात नहीं, नहीं, नहीं करनी चाहिए, अन्यथा उस कर्म फल का भुगतान और कर्ज चुकाना होगा। मिंग-या ताइवान (फॉर्मोसा) से सच मे मिंग-या, आपकी कहानी ने हमारी आंखों में आंसू ला दिए, जैसा कि हमने आपके और गर्भस्थ बच्चों द्वारा महसूस की गई पीड़ा के बारे में पढ़ा। हम आभारी हैं कि आपने अपने इस अनुभव को बहादुरी से साँझा किया है ताकि अन्य लोग सीख सकें और आपको और आपके बच्चों की तरह पीड़ित न हों। हमारा तहे दिल से शुक्रिया। कामना है कि स्वर्ग आप पर चमके, जिन्हें आप प्यार करते हैं और दयालु ताइवानी (फॉर्मोसन) लोग, इस प्रकार बहुत खुशी और शांति लाते रहें। विश्व-व्यापी शांति में, सुप्रीम मास्टर टीवी टीम पी.एस. आपको इस उत्तर में मास्टर ने प्यार भरा समर्थन व्यक्त किया गया है: "मीठे मिंग-हां, पिछली त्रासदी का यह सुखद संकल्प भगवान की अनंत कृपा के साथ-साथ आपकी गहरी आस्था, ईमानदार प्रार्थना, पश्चाताप और भक्ति के कारण है। परमेश्वर की करुणामयी, क्षमाशील शक्ति और साधना के बिना हम सब इस संसार में खोए रहते हैं। आपको और आपके अनमोल छोटों को ढेर सारा प्यार। मैं आपको गले लगाती हूं और प्रार्थना करती हूं कि सभी प्राणियों के भीतर दिव्य प्रकाश आगे का मार्ग रोशन करे और आपके और शांत ताइवान (फॉर्मोसा) के लिए सौभाग्य लाए।"